कानपुर: सरकारी नौकरी का झांसा देकर मर्चेंट नेवी के नेविगेटिंग ऑफिसर से 3.70 लाख रुपये की ठगी करने का मामला सामने आया है। आरोपी ने फर्जी अपॉइंटमेंट लेटर देकर सचिवालय, लखनऊ में नौकरी दिलाने का वादा किया था। जब ऑफिसर ज्वाइनिंग के लिए लखनऊ पहुंचे, तब उन्हें ठगी का अहसास हुआ। पीड़ित ने आरोपी के खिलाफ बजरिया थाने में एफआईआर दर्ज कराई है।
क्लीनिक में हुई थी मुलाकात, सरकारी नौकरी का दिया झांसा
फतेहपुर के लक्ष्मी कॉलोनी, सिविल लाइंस निवासी सारांश मिश्रा, मर्चेंट नेवी में नेविगेटिंग ऑफिसर हैं। मार्च 2024 में जब वह रामबाग, बजरिया स्थित फॉर्च्यून सिटी क्लिनिक में क्रॉनिक पैनक्रियाटाइटिस का इलाज कराने गए थे, तब उनकी मुलाकात अंबरीश श्रीवास्तव उर्फ दीपू श्रीवास्तव (निवासी शारदा नगर) से हुई। बातचीत के दौरान अंबरीश ने सारांश से उनके काम के बारे में पूछा और मर्चेंट नेवी की नौकरी को कठिन बताते हुएसरकारी नौकरी दिलाने का लालच दिया।
3.70 लाख लेकर दिए फर्जी ज्वाइनिंग लेटर और चेक
अंबरीश ने खुद को सचिवालय, लखनऊ का कर्मचारी बताकर सारांश को वहां नौकरी दिलाने का भरोसा दिलाया और इसके बदले 3.70 लाख रुपये ले लिए। जब काफी समय तक नौकरी नहीं लगी, तो पीड़ित ने अंबरीश से सवाल किए। इस पर आरोपी ने दो चेक (1 लाख और 2.70 लाख रुपये के) दिए और कहा कि अगर नौकरी न लगे तो चेक जमा कर रकम ले सकते हैं।
चेक बाउंस और जान से मारने की धमकी
अंबरीश ने सारांश को फर्जी अपॉइंटमेंट लेटर भी दिया। जब वह ज्वाइनिंग के लिए लखनऊ पहुंचे, तब उन्हें ठगी का पता चला। इसके बाद उन्होंने बैंक में चेक जमा किए, लेकिन दोनों चेक बाउंस हो गए। जब सारांश ने इसका विरोध किया, तो अंबरीश ने उन्हें जान से मारने की धमकी दी।
पुलिस ने दर्ज की एफआईआर, आरोपी की तलाश जारी
बजरिया थाने के इंस्पेक्टर अरविंद कुमार शर्मा ने बताया कि पीड़ित की तहरीर पर मामला दर्ज कर लिया गया है। आरोपी की तलाश जारी है और दस्तावेजों की जांच के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।