भारतीय विकेटकीपर बल्लेबाज केएल राहुल ने वनडे प्रारूप में अपनी फिनिशर की भूमिका को बखूबी निभाया, खासकर चैंपियंस ट्रॉफी में उनके शानदार प्रदर्शन के चलते। राहुल ने पूरे टूर्नामेंट में जबरदस्त स्थिरता दिखाई और भारत ने बिना एक भी मैच गंवाए खिताब पर कब्जा जमाया।
हालांकि राहुल स्वभाव से एक सलामी बल्लेबाज हैं, लेकिन उन्होंने रिषभ पंत से कड़ी प्रतिस्पर्धा के बावजूद विकेटकीपर की भूमिका हासिल की और साबित किया कि टीम प्रबंधन ने उन पर भरोसा क्यों जताया था।
“मज़ेदार नहीं, संजना!” – राहुल का मज़ाकिया जवाब
फाइनल के बाद हुए एक इंटरव्यू में, जब संजना गणेशन – जो भारतीय तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह की पत्नी भी हैं – ने राहुल से पूछा कि भारतीय स्पिन चौकड़ी (वरुण चक्रवर्ती, कुलदीप यादव, रवींद्र जडेजा और अक्षर पटेल) के सामने विकेटकीपिंग करना कितना ‘मज़ेदार’ था, तो राहुल ने हंसते हुए जवाब दिया:
“मज़ेदार नहीं, संजना! जब ये स्पिनर गेंदबाजी कर रहे होते हैं, तो मुझे 200-250 बार बैठना-उठना पड़ता है, यह बहुत थकाने वाला काम है!”
“इससे बेहतर एहसास कुछ नहीं” – राहुल
राहुल ने भारत के चैंपियंस ट्रॉफी जीतने को सबसे खास लम्हा बताया और कहा कि यह उनकी मेहनत और समर्पण का नतीजा है।
“मुझे नहीं लगता कि इससे बेहतर एहसास कोई और हो सकता है। कुछ महीने पहले एक इंटरव्यू में मैंने कहा था कि अब मेरा पूरा ध्यान ज्यादा से ज्यादा खिताब जीतने पर है। भगवान ने मुझे ऐसी परिस्थितियों में रखा है जहां मैं अपनी टीम के लिए मैच जीत सकूं। मैं हमेशा सफल नहीं हो पाता, लेकिन यही खेल की खूबसूरती है – आपको नए मौके मिलते रहते हैं। अगर आप विनम्र रहते हैं, सही दिशा में मेहनत करते हैं, दिल से खेलते हैं और आपका बल्ला बोलता है, तो भगवान आपको आशीर्वाद देता है। यही मैं कह सकता हूं। हम पूरे साल मेहनत करते हैं, लेकिन ऐसे लम्हे ही हमारी मेहनत को खास बनाते हैं।”
राहुल ने यह बातें स्टार स्पोर्ट्स से बातचीत के दौरान कहीं।