चंपाई सोरेन ने कहा कि अवैध धर्मांतरण और बांग्लादेशी घुसपैठ के खिलाफ हूल दिवस पर आंदोलन की जाएगी

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राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री और भाजपा के वरिष्ठ नेता चंपाई सोरेन ने कहा है कि अवैध धर्मांतरण और बांग्लादेशी घुसपैठ के खिलाफ राज्य में आगामी 30 जून को हूल दिवस के मौके पर राज्यव्यापी जन आंदोलन की शुरुआत की जाएगी। रांची में आयोजित संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि अवैध बांग्लादेशी घुसपैठ का मुद्दा वे लगातार उठाते रहे हैं। केंद्र सरकार ने भी मुद्दे को गंभीर माना है। उन्होंने कहा कि इस मुद्दे की गंभीरता को देखते हुए केंद्र सरकार ने सभी राज्यों को अवैध बांग्लादेशी घुसपैठियों के पहचान के लिए स्पेशल टास्क फोर्स बनाने का निर्देश दिया है। बांग्लादेशी घुसपैठ के मुद्दे पर केंद्र सरकार द्वारा उठाए गए कदम का पूर्व मुख्यमंत्री में स्वागत किया है। उन्होंने कहा कि इस काम के लिए वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और देश के गृह मंत्री अमित शाह के प्रति आभार व्यक्त करते हैं। उन्होंने कहा कि झारखंड में अवैध बांग्लादेशी घुसपैठ और धर्मांतरण जोर पकड़ रहा है। चंपाई सोरेन ने कहा कि रांची, लोहरदगा, गुमला, बोकारो, पाकुड़, साहिबगंज और पलामू क्षेत्र समेत पूरा झारखंड अवैध बांग्लादेशी घुसपैठ की चपेट में आ रहा है। उन्होंने कहा कि झारखंड मुक्ति मोर्चा, राष्ट्रीय जनता दल और कांग्रेस की गठबंधन वाली सरकार वोट बैंक की राजनीति कर रही है। उन्होंने कहा कि संथाल परगना समेत झारखंड के कई गांव में अब आदिवासी परिवार की संख्या एक भी नहीं बची हुई है। बांग्लादेशी अवैध घुसपैठ और धर्मांतरण के मुद्दे को चंपाई सोरेन ने इसे पूरी तरह से सामाजिक मुद्दा बताया। उन्होंने कहा कि इस मुद्दे पर कभी भी राजनीति नहीं होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि आदिवासी संस्कृति पर हमला होने के साथ उनकी जमीनों को भी छीना जा रहा है। आज कई ऐसे गांव है जहां आदिवासियों के नाम पर जमीन नहीं बची है। संवाददाता सम्मेलन के दौरान पूर्व मुख्यमंत्री चंपाई सोरेन ने झारखंड में आदिवासी महिलाओं की अस्मिता का भी मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि झारखंड में दुष्कर्मियों को सरकार की ओर से संरक्षण दिया जा रहा है। हाल ही में बोकारो में दुष्कर्म की घटना को अंजाम देने वाले शख्स की मौत पर उसके परिजनों को गठबंधन के सहयोगी दलों की ओर से लाखों रुपए मुआवजा दिया गया और सरकार की ओर से नौकरी दी गई। यह घटना स्पष्ट करती है कि राज्य में महिला सुरक्षित नहीं है और दुष्कर्म की घटना को अंजाम देने वालों को सरकार का संरक्षण है।

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