दिल्ली में भूकंप के झटकों के कुछ घंटे बाद, सोमवार सुबह बिहार में भी 4.0 तीव्रता का भूकंप दर्ज किया गया। भूकंप 10 किलोमीटर की गहराई पर आया, जिससे कई इलाकों में हल्के झटके महसूस किए गए।
दिल्ली और बिहार में भूकंप: लगातार बढ़ती सिस्मिक गतिविधि
दिल्ली और बिहार में आए ये झटके उत्तर भारत में बढ़ती सिस्मिक गतिविधियों को दर्शाते हैं। दिल्ली सिस्मिक ज़ोन IV में स्थित है, जहां मध्यम से उच्च तीव्रता के भूकंप आने की संभावना बनी रहती है। वहीं, बिहार भी गंगा बेसिन क्षेत्र में आता है, जहां प्लेटों की टकराव प्रक्रिया के कारण समय-समय पर भूकंप आते रहते हैं।
क्या कहते हैं विशेषज्ञ?
विशेषज्ञों के अनुसार, उथले भूकंप (shallow earthquakes) के कारण झटके तेज़ महसूस होते हैं, भले ही उनकी तीव्रता कम हो। दिल्ली में रविवार रात आए भूकंप के दौरान भारी गड़गड़ाहट सुनाई दी थी, जो इस बात को दर्शाता है कि भूकंप का केंद्र सतह के काफी करीब था।
सुरक्षा उपाय और सतर्कता
- भूकंप के दौरान इमारतों से बाहर निकलें और खुले मैदान में रहें।
- भूकंप के समय लिफ्ट का इस्तेमाल न करें।
- अगर घर के अंदर हैं तो किसी मजबूत टेबल या फर्नीचर के नीचे छिपें।
- आपातकालीन नंबर 112 पर तुरंत सूचना दें।
सरकार और आपदा प्रबंधन एजेंसियां भूकंप की स्थिति पर नज़र बनाए हुए हैं और लोगों से सतर्क रहने की अपील की गई है।